(4) पूर्ति की मात्रा- वस्तुओं की पूर्ति उनकी माँग के अनुरूप कर ली जाती है। ऐसी वस्तु का बाज़ार व्यापक स्तर पर होता है। किंतु जिन वस्तुओं की पूर्ति को अधिक मात्रा में बढ़ाना संभव नहीं होता। उनका बाज़ार संकुचित हो जाता है।

पूँजी बाजार (Capital market)

पूंजी बाजार क्या है, पूंजी बाजार से क्या आशय है, पूंजी बाजार का अर्थ, पूंजी बाजार के प्रकार आदि प्रश्नों के उत्तर यहाँ दिए गए हैं। पूँजी बाजार (Capital market) notes in Hindi for UPSC and PCS.

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पूँजी बाजार

पूंजी बाजार वह बाजार है जहां पर अंश पूँजी (Share) एवं प्रतिभूतियों (Securities) का लेन-देन किया जाता है। पूंजी बाजार का नियंत्रण सेबी (SEBI-Securities and Exchange Board Of India) करता है। SEBI की स्थापना 12 अप्रैल,1988 में हुई थी, इसका मुख्यालय मुंबई में स्थित है। सेबी की स्थापना के वर्ष (1988) इसकी प्रारंभिक पूंजी 7.5 करोड़ थी जो कि प्रवर्तक कंपनियों (IDBI, ICICI, IFCI) द्वारा प्रदान की गयी थी।

पूँजी बाजार एवं मुद्रा बाजार के बीच में प्रमुख भिन्नता यह है कि मुद्रा बाजार एक अल्पावधि की वित्तीय व्यवस्था वाला बाजार है जबकि पूंजी बाजार में मध्यम तथा दीर्घकाल के कोषों का आदान प्रदान किया जाता है।

भारतीय पूँजी बाजारों को दो भागों में बांटा जाता है –

1. संगठित पूँजी बाजार, शेयर बाजार किसे कहते हैं
2. असंगठित पूंजी बाजार

संगठित पूँजी बाजार (Organized capital market)

संगठित पूँजी बाजार से आशय ऐसे बाजार से है जोकि किसी न किसी प्रकार से नियंत्रित होता है। इसमें पूंजी की मांग करने वाले प्रमुख पक्ष संयुक्त पूँजी वाली कंपनियों एवं सरकारी संस्थाएं होती हैं।

संगठित पूंजी बाजार को भी दो भागों में बांटा गया है –

I. गिल्ट एज्ड बाजार (Gilt Edged Market)

गिल्ट एज्ड बाजार (Gilt Edged Market) में भारतीय रिजर्व बैंक के माध्यम से केवल सरकारी व अर्ध सरकारी प्रतिभूतियों का क्रय विक्रय किया जाता है। इस बाजार को सबसे सुरक्षित बाजार माना जाता है (प्रतिभूतियों का मूल्य स्थिर रहता है)। इस बाजार में जोखिम कम होता है जिस कारण निवेशकों की पूंजी यहां सुरक्षित रहती है।

II. औद्योगिक प्रतिभूति बाजार (Industrial Security Market)

औद्योगिक प्रतिभूति बाजार (Industrial Security Market) में औद्योगिक कंपनियों की इक्विटियों और ऋण-पत्रों को बेचा और खरीदा जाता है। औद्योगिक प्रतिभूति बाजार में नए अथवा पहले से स्थापित औद्योगिक उपक्रमों के शेयरों (अंश पूँजी) की बिक्री (क्रय-विक्रय) की जाती है। इस शेयर बाजार किसे कहते हैं बाजार में निजी प्रतिभूतियों को कंपनियों द्वारा बेचा जाता है। इनका पंजीकरण भारतीय कंपनी एक्ट 2013 (Indian Company Act 2013) के अंतर्गत होता है।

IPO क्या है? यह कैसे काम करता है? क्या है इसका उद्देश्य?

स्वतंत्र मिश्र

Reported By: |स्वतंत्र मिश्र | Updated: Jan 28, 2022, 04:25 PM IST

IPO क्या है? यह कैसे काम करता है? क्या है इसका उद्देश्य?

डीएनए हिंदी: आइपीओ (IPO) का फुल फॉर्म होता है- इनीशियल पब्लिक ऑफरिंग (Initial Public Offering). एक कंपनी जब अपने समान्य स्टॉक या शेयर को पहली बार जनता के लिए जारी करता है तो उसे आईपीओ कहते हैं. लिमिटेड कंपनियों द्वारा आईपीओ इसलिए जारी किया जाता है जिससे वह शेयर बाजार में सूचीबद्ध हो सके. शेयर बाजार में सूचीबद्ध होने के बाद कंपनी के शेयरों की खरीद शेयर बाजार में हो पाती है. कंपनी निवेश या विस्तार करने की हालत में फंडिंग इकट्ठा करने के लिए आईपीओ जारी करती है.

बाजार के विस्तार को प्रभावित करने वाले कारक क्या हैं | Factors Affecting the Extent of Market in hindi

किसी भी अर्थव्यवस्था में बाज़ार का स्थान अत्यन्त महत्वपूर्ण होता है। बाज़ार के बिना किसी भी अर्थव्यवस्था की कल्पना ही नहीं कि जा सकती। इसलिए अर्थव्यवस्था के विकास के लिए यह भी आवश्यक होता है कि उस देश के बाज़ार का विस्तार जितना संभव हो सके अवश्य हो। ऐसे अनेक कारक होते हैं जो बाज़ार को विशेष रूप से प्रभावित करने में सक्षम होते हैं। इन्हीं तत्वों से बाज़ार के विस्तार को ताक़त मिलती है और बाज़ार पहले से और भी सुदृढ़ होता चला जाता है।

हम आज इस अंक में बाजार को प्रभाबित करने वाले तत्व क्या हैं? जानेंगे। किसी भी बस्तु शेयर बाजार किसे कहते हैं का बाज़ार या तो संकुचित हो सकता है अथवा विस्तृत हो सकता है। बात करें संकुचित बाज़ार की तो बाज़ार संकुचित तब होने लगता है जब उस बाज़ार में वस्तु विशेष की माँग एक सीमित क्षेत्र में हो रही हो। ठीक इसके विपरीत विस्तृत बाज़ार की बात करें तो कोई भी बाज़ार विस्तृत तब होता है जब उस बाज़ार में किसी वस्तु विशेष की माँग एक बड़े क्षेत्र यानि कि विस्तृत क्षेत्र में होने लगती है।

(अ) वस्तु की विशेषताओं से संबंधित तत्व

वस्तु की विशेषताओं से संबंधित तत्व जो कि बाज़ार में विस्तार को प्रभावित करने में सक्षम होते हैं। निम्नानुसार होते हैं-

(1) व्यापक माँग- किसी भी बाज़ार के विस्तृत होने के लिए यह अत्यंत महत्वपूर्ण है कि उस वस्तु की माँग, व्यापक स्तर पर होनी चाहिए। अर्थात वस्तुओं की माँग जितनी अधिक तथा व्यापक होगी उनका बाज़ार भी उतना ही व्यापक होगा। यानि कि उस वस्तु का बाज़ार उतना ही विस्तृत होगा।

(2) वहनीयता- बाज़ार के विस्तार के लिए वस्तु में वहनीयता का गुण होना आवश्यक है। जिन वस्तुओं का भार कम तथा मूल्य अधिक होता है। उन वस्तुओं का बाज़ार अधिक विस्तृत होता है। अन्य शब्दों में कहें तो जिन वस्तुओं एक स्थान से दूसरे स्थान तक आसानी से ले जाया जा सके। ऐसी वस्तुओं का बाज़ार विस्तृत होता है। उदाहरण के लिए, सोना, चाँदी, हीरे जवाहरात आदि। वहीं दूसरी ओर अधिक भार वाली वस्तुओं को देखें तो भार अधिक होने के कारण उनका बाज़ार संकीर्ण होता है। साथ ही क़ीमत भी अपेक्षाकृत कम होती है। उदाहरण के लिए, ईंट, पत्थर, रेत आदि।

[PDF] शेयर बाजार के नियम PDF• बुक डाउनलोड करें | शेअर बाजार के नियम पुस्तक

शेयर मार्केट के बारे में तो आपने जरूर सुना होगा। क्या आप भी शेयर मार्केट में शेयर बाजार किसे कहते हैं इन्वेस्ट करते हैं अथवा इन्वेस्ट करने की सोच रहे हैं। शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने से पहले आपको शेयर बाजार के नियम यानी शेयर मार्केट की पूरे तरीके जरूर पता होना चाहिए।

कैसे शेयर मार्केट में इन्वेस्ट किया जाता है। शेयर मार्केट में नुकसान से बचने के टिप्स क्या हैं। शेयर मार्केट से जुड़ी हर प्रकार की जानकारी आपको होनी चाहिए। शेयर बाजार किसे कहते हैं शेयर मार्केट दुनिया का वह कुआं है जो हर किसी के पैसों की प्यास बुझा सकता है।

जी हां, विभिन्न प्रकार की धार्मिक, आर्थिक, स्तोत्र, कथा, शैक्षिक पीडीएफ बुक डाउनलोड करने के लिए आप हमारी इस वेबसाइट के पीडीएफ सेक्शन में जा सकते हैं। आज के शेयर बाजार किसे कहते हैं इस आर्टिकल में हम आपको शेयर बाजार के नियम PDF बुक प्रदान कर रहे हैं। शेअर बाजार पुस्तक PDF Download Free

शेयर बाजार का नियम क्या है?

शेयर बाजार में किसी भी प्रकार का निवेश करने से पहले आपको शेयर बाजार की छोटी से छोटी जानकारी का भी पता होना चाहिए। किस कंपनी का शेयर खरीदे हैं। उस कंपनी के बारे में हर प्रकार की जानकारी आपके पास होनी चाहिए।

उस कंपनी का कितना कर्ज है। उस कंपनी का ग्रोथ रेट क्या है। वह कंपनी किस प्रोडक्ट पर कितना मार्जन देती है। यह सारी बातें आपको अच्छे से पता होनी चाहिए।

इस आर्टिकल के बीच में अथवा अंत में शेयर बाजार के नियम पीडीएफ फाइल का लिंक दिया गया है आप उसे आसानी से शेयर बाजार किसे कहते हैं अपने डिवाइस में डाउनलोड कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त यदि आप शेयर बाजार की बेहतरीन पुस्तक खरीदना चाहते हैं तो उसका लिंक भी नीचे दिया गया है। आइए जानते हैं, शेयर बाजार के कुछ महत्वपूर्ण नियम- शेयर बाजार के नियम

  • सही स्टॉप पर पैसा लगाएं
    शेयर बाजार किसे कहते हैं
  • ट्रेंड के अनुसार ट्रेड करें

शेयर बाजार में नुकसान से बचने के टिप्स

शेयर बाजार में इन्वेस्ट करने शेयर बाजार किसे कहते हैं से पहले अथवा किसी भी शेयर को खरीदने से पहले आपको शेयर बाजार के नियम जरूर पता होने चाहिए। शेयर बाजार में नुकसान से बचने के लिए आपको बहुत सारे टिप्स अपनाने चाहिए।

यदि आप शेयर बाजार में बिल्कुल नये हों तो आपको इंट्राडे अथवा लॉन्ग टर्म में बिल्कुल भी इन्वेस्ट नहीं करना चाहिए। शुरुआत में आपको अपने पैसों के हिसाब शेयर बाजार किसे कहते हैं से अपनी आर्थिक स्थिति को देखते हुए ही इन्वेस्ट करना चाहिए।

शेयर बाजार में नुकसान से बचने के लिए आपको बहुत सारी बातों का ध्यान भी रखना चाहिए। यदि आप चाहते हैं कि शेयर बाजार में आपको फायदा ही हो नुकसान बिल्कुल ना हो तो शेयर बाजार में नुकसान से बचने के लिए निम्न बातों का विशेष ध्यान रखें।

  • किसी भी कंपनी का शेयर खरीदने से पहले उस कंपनी की पूरी जानकारी लें।
  • कंपनी का ग्रोथ रेट देखें।
  • कंपनी पर कितना कर्जा है यह भी जाने।
  • शुरुआत में सस्ते शेयर पर ही शेयर बाजार किसे कहते हैं पैसा लगाएँ।
  • शेयर बाजार गाइड पुस्तक खरीदें।

किसे कहते हैं आईपीओ, कैसे होता है निवेश, किन बातों का रखें का ध्‍यान, जानि‍ए यहां

किसे कहते हैं आईपीओ, कैसे होता है निवेश, किन बातों का रखें का ध्‍यान, जानि‍ए यहां

कोविड -19 महामारी के प्रभाव के बावजूद, ऐसा लगता है कि देश में इस साल रिकॉर्ड संख्या में आईपीओ आएंगे। (Photo By Financial Express Archive)

इस मानसून भारत में आईपीओ की बारिश हो रही है। पिछले सात महीनों में 40 आईपीओ पहले ही आ चुके हैं। वहीं कई आईपीओ कतार में लगे हुए हैं। शेयर बाजार किसे कहते हैं जबकि पूरे 2020 में 33 और 2019 में 49 आईपीओ आए थे। कोविड -19 महामारी के प्रभाव के बावजूद, ऐसा लगता है कि देश में इस साल रिकॉर्ड संख्या में आईपीओ आएंगे। जिससे निवेशकों को भी कमाई करने का भरपूर मौका मिलेगा। पहले यह समझना काफी जरूरी है कि आख‍िर आईपीओ है क्‍या और यह काम कैसे करता है। साथ ही निवेशकों को आईपीओ में निवेश करने से पहले किन बातों का ध्‍यान रखना काफी जरूरी है।

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